Maruti Eeco Flex Fuel Prototype: भारत की पहली मास-मार्केट ग्रीन कार, पेट्रोल और एथेनॉल पर सुपर परफॉर्मेंस

भारतीय ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री में एक नया माइलस्टोन जुड़ने वाला है। Maruti Suzuki ने अपनी पहली फ्लेक्स-फ्यूल कार का प्रोटोटाइप तैयार कर लिया है, जो 2025 तक बाजार में उतर सकती है। यह कार पेट्रोल और एथेनॉल के किसी भी मिक्सचर पर चलने में एबल होगी, जिससे न सिर्फ ईंधन की बचत होगी बल्कि एनवायरनमेंट को भी फायदा पहुंचेगा।

कीय फीचर्स

Maruti Suzuki ने अपनी पॉपुलर कार Wagon R के प्लेटफॉर्म पर इस फ्लेक्स-फ्यूल प्रोटोटाइप को डेवलप्ड किया है। इस कार की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यह E20 (20% एथेनॉल + 80% पेट्रोल) से लेकर E85 (85% एथेनॉल + 15% पेट्रोल) तक किसी भी मिक्सचर पर आसानी से चल सकती है। कार को ऑटो एक्सपो 2023 में शोकसेड किया गया था और यह देखने में बिल्कुल रेगुलर Wagon R जैसी ही लगती है, लेकिन इसके अंदर कई एडवांस्ड टेक्नोलॉजीज छुपी हुई हैं।

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टेक्नोलॉजिकल उपग्रडेस और एनवायर्नमेंटल बेनिफिट्स

इस फ्लेक्स-फ्यूल कार में कई इम्पोर्टेन्ट टेक्नोलॉजिकल बदलाव किए गए हैं। इसमें एक स्पेशल एथेनॉल सेंसर लगा है जो ऑटोमेटिकली फ्यूल में मौजूद एथेनॉल की मात्रा का पता लगाता है। साथ ही इसमें हीटेड फ्यूल रेल की सुविधा है जो ठंडे मौसम में भी कार को आसानी से स्टार्ट होने में मदद करती है। सबसे बड़ी बात यह है कि जब यह कार E85 फ्यूल पर चलती है तो यह सामान्य पेट्रोल Wagon R की तुलना में 79% तक कम ग्रीनहाउस गैसों का एमिटस करती है, जो एनवायरनमेंट के लिए एक बड़ी राहत होगी।

भारतीय बाजार के लिए इम्पोर्टेंस

Maruti Suzuki का यह कदम भारत सरकार की एथेनॉल ब्लेंडिंग स्कीम के साथ पूरी तरह से मेल खाता है। सरकार ने 2030 तक पेट्रोल में एथेनॉल ब्लेंडिंग को 20% तक बढ़ाने का टारगेट रखा है। फ्लेक्स-फ्यूल कारों के आने से देश को कच्चे तेल के इम्पोर्ट्स पर डिपेंडेंस कम करने में मदद मिलेगी, क्योंकि एथेनॉल भारत में ही गन्ने से प्रोडूस किया जाता है। यह न केवल फॉरेन करेंसी की बचत करेगा बल्कि किसानों के लिए एडिशनल इनकम का सोर्स भी बनेगा।

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फ्यूचर की प्रॉस्पेक्ट्स और चैलेंजेस

जहां एक ओर फ्लेक्स-फ्यूल टेक्नोलॉजी के कई फायदे हैं, वहीं कुछ चैलेंजेस भी मौजूद हैं। फिलहाल भारत में E85 फ्यूल की अवेलेबिलिटी बहुत लिमिटेड है और इसके लिए अलग से इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलप्ड करने की आवश्यकता होगी। साथ ही, फ्लेक्स-फ्यूल व्हीकल्स की कीमत सामान्य कारों से थोड़ी अधिक हो सकती है। हालांकि, लंबे समय में फ्यूल की बचत से यह एडिशनल कॉस्ट कवर हो जाएगी। Maruti Suzuki का टारगेट इस टेक्नोलॉजी को भारत की मास मार्केट तक पहुंचाना है, जो एक कमेंडेबल इनिशिएटिव है।

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